उत्तराखंड में बाढ़ व जलभराव की दृष्टि से 304 स्थल संवेदनशील, सरकार की तैयारी पूरी
वर्षाकाल अब धीरे-धीरे रवानी पकड़ने लगा है। ऐसे में बाढ़ और जलभराव की चिंता भी... The post उत्तराखंड में बाढ़ व जलभराव की दृष्टि से 304 स्थल संवेदनशील, सरकार की तैयारी पूरी first appeared on Newz Studio.

उत्तराखंड में बाढ़ व जलभराव की दृष्टि से 304 स्थल संवेदनशील, सरकार की तैयारी पूरी
Breaking News, Daily Updates & Exclusive Stories - kharchaapani
वर्षाकाल अब धीरे-धीरे रवानी पकड़ने लगा है। ऐसे में बाढ़ और जलभराव की चिंता भी सताने लगी है। इसे देखते हुए सरकार ने अब किसी भी आपात स्थिति से निबटने के दृष्टिगत तैयारियों को अंतिम रूप दे दिया है। राज्य के सभी जिलों में 304 ऐसे संवेदनशील स्थल चिह्नित किए गए हैं, जहां बाढ़ एवं जलभराव का खतरा हो सकता है।
सरकार की तैयारी - संवेदनशील स्थलों की पहचान
इन स्थलों पर विशेष निगरानी रखी जाएगी। राज्य में 113 बाढ़ सुरक्षा चौकियां प्रशासन के सहयोग से स्थापित कर दी गई हैं, ताकि नदियों में बाढ़ की स्थिति में तत्काल अलर्ट जारी किया जा सके। राज्य के उच्च अधिकारियों द्वारा यह सुनिश्चित किया गया है कि सभी तैयारियां समय पर पूरी की जाएं। इन सुरक्षा चौकियों के माध्यम से नदियों में बाढ़ की स्थिति बनने पर पंचायत प्रतिनिधियों को मोबाइल फोन पर सूचना दी जाएगी।
बाढ़ नियंत्रण कक्ष और उनकी जिम्मेदारी
सभी जिलों में बाढ़ नियंत्रण कक्ष भी स्थापित कर इनकी जिम्मेदारी अधिकारियों को सौंपी गई है। हरिद्वार, ऊधम सिंह नगर, देहरादून, पौड़ी, और उत्तरकाशी जिलों में सबसे अधिक संवेदनशील स्थलों को चिह्नित किया गया है। यह आवश्यक है कि प्रशासन द्वारा समय पर सूचना पहुँचाई जाए ताकि लोग सुरक्षित स्थानों पर जा सकें।
सिंचाई विभाग के प्रयास
सिंचाई मंत्री सतपाल महाराज ने भी वृष्टि काल के दौरान उठाए गए कदमों की समीक्षा की है। उन्होंने कहा कि सभी व्यवस्थाएं चाक-चौबंद की गई हैं। सिंचाई खंड, देहरादून में एक केन्द्रिय बाढ़ नियंत्रण कक्ष की स्थापना की गई है, जो चौबीस घंटे सक्रिय रहेगा। इसके अलावा, वाट्सएप ग्रुप के माध्यम से सभी संबंधित विभागों के बीच जानकारी का आदान-प्रदान किया जाएगा।
संवेदनशील नहरों की सुरक्षा
इससे पहले ही सिंचाई विभाग ने संवेदनशील नहरों की सफाई कर ली है और राज्य की मुख्य नदियों के जल स्तर की लगातार निगरानी की जा रही है। जलाशयों और बांधों पर भी नज़र रखी जा रही है। बैराजों और जलाशयों के डाउनस्ट्रीम में रहने वाले लोगों को सुरक्षित रखने के लिए सायरन लगाए गए हैं।
निष्कर्ष
उत्तराखंड में बाढ़ और जलभराव की समस्या को लेकर सरकार ने अब महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। सभी व्यवस्थाओं को चाक-चौबंद करने और लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने का कार्य तेजी से जारी है। यह समय है कि राज्य के लोग भी सजग रहें और प्रशासन द्वारा जारी अलर्ट को गंभीरता से लें।
सरकार की तैयारी से यह उम्मीद की जा सकती है कि इस वर्ष बाढ़ के दौरान गंभीर स्थितियों से बचने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाए गए हैं। बाढ़ सुरक्षा चौकियों और नियंत्रण कक्षों की स्थापना से नागरिकों को सुरक्षित रखा जा सकेगा।
अधिक जानकारी के लिए, कृपया हमारी वेबसाइट पर जाएं: kharchaapani.com
Keywords:
Uttarakhand flood, waterlogging, flood preparedness, sensitive sites, flood safety, government measures, monsoon season, dam management, irrigation department, emergency measuresWhat's Your Reaction?






