मुख्य सचिव के निर्देश: 2026 में नंदा देवी राजजात यात्रा की तैयारियों का प्रारंभ
मुख्य सचिव आनंद बर्धन की अध्यक्षता में आगामी 2026 में प्रस्तावित नंदा देवी राजजात यात्रा के तैयारियों की समीक्षा बैठक आयोजित की गई। मुख्य सचिव ने जिलाधिकारी चमोली को निर्देशित किया कि संबंधित विभागों और स्टेक होल्डर्स के साथ समन्वय … read more

मुख्य सचिव के निर्देश: 2026 में नंदा देवी राजजात यात्रा की तैयारियों का प्रारंभ
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कम शब्दों में कहें तो, मुख्य सचिव आनंद बर्धन की अध्यक्षता में 2026 में होने वाली नंदा देवी राजजात यात्रा की तैयारियों को लेकर एक समीक्षा बैठक आयोजित की गई। इस बैठक का उद्देश्य यात्रा की व्यवस्थाओं और उनकी योजना पर चर्चा करना था। विभिन्न अधिकारियों और विभागों के प्रमुखों ने इस बैठक में भाग लिया तथा यात्रा संबंधी आवश्यक दिशा-निर्देशों और रणनीतियों पर चर्चा हुई।
मुख्य सचिव का निष्कर्ष
मुख्य सचिव आनंद बर्धन ने जिलाधिकारी चमोली को निर्देशित किया कि वे संबंधित विभागों और स्टेक होल्डर्स के साथ समन्वय स्थापित करें। उन्होंने एक प्रभावी योजना तैयार करने के लिए निर्देशित किया जिससे यात्रा को व्यवस्थित और सुरक्षित तरीके से संचालित किया जा सके। उन्होंने कहा कि इस प्रक्रिया में मानक संचालन प्रक्रियाओं (एसओपी) का समावेश आवश्यक है, जिसमें सुरक्षा, व्यवस्था, संचालन और नियंत्रण से संबंधित सभी मुद्दों को शामिल करना होगा।
पर्यावरण और क्लीनliness का प्रबंधन
मुख्य सचिव ने यात्रा के दौरान वेस्ट मैनेजमेंट, सेप्टिक प्रबंधन, और सेनिटेशन योजना बनाने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि यात्रा के सभी श्रद्धालुओं को पर्याप्त सुविधाएं प्रदान करने के साथ-साथ पर्यावरण को भी नुकसान नहीं पहुंचाना चाहिए। यह कदम यात्रा की सफाई और संरक्षण के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। इस दिशा में कार्य करते हुए, उन्होंने विभिन्न अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि वे ठोस योजनाएं बनाएं।
कार्य योजना और बजट की आवश्यकता
बैठक में, मुख्य सचिव ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि वे विभिन्न कार्यों को स्थाई और अस्थाई श्रेणियों में विभाजित करते हुए प्रस्ताव तैयार करें। अगर किसी कार्य की पूर्ति के लिए अतिरिक्त बजट की आवश्यकता हो, तो उसकी मांग की जा सके। इसके साथ ही, मेंटेनेंस या अन्य रूटीन कार्यों के लिए बजट को सुसंगत तरीके से प्रबंधित करना आवश्यक है।
यात्रा का डॉक्यूमेंटेशन
मुख्य सचिव ने पर्यटन विभाग को यह सुनिश्चित करने के लिए भी कहा कि यात्रा की ऐतिहासिकता और विशिष्टता को ध्यान में रखकर इसका उचित डॉक्यूमेंटेशन किया जाए। इसके साथ ही, इसकी पहचान और मुख्यताएं बरकरार रखते हुए एक डॉक्यूमेंट्री भी तैयार की जानी चाहिए।
क्षेत्रीय जिलाधिकारियों का फीडबैक
बैठक के दौरान, मुख्य सचिव ने चमोली, अल्मोड़ा, बागेश्वर, नैनीताल और पिथौरागढ़ के जिलाधिकारियों से यात्रा की तैयारियों पर फीडबैक लिया। इस फीडबैक के माध्यम से यह सुनिश्चित किया जाएगा कि सभी आवश्यकताएं समय पर पूरी हों।
बैठक में प्रमुख सचिव आर मीनाक्षी सुंदरम, सचिव दिलीप जावलकर, सचिन कुर्वे, डॉ. पंकज कुमार पांडेय, विनोद कुमार सुमन, धीरज गर्ब्याल, और पुलिस महानिरीक्षक के एस नगन्याल सहित कई अन्य महत्वपूर्ण अधिकारी उपस्थित थे।
निष्कर्ष
2026 में होने वाली नंदा देवी राजजात यात्रा, जो धार्मिक और सांस्कृतिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, का सफल आयोजन कई श्रद्धालुओं के लिए एक यादगार अनुभव साबित होगा। मुख्य सचिव के निर्देशित कार्य और योजनाएं इस यात्रा की सफलता की आधारशिला होंगी।
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